5 EASY FACTS ABOUT SHIV CHALISA LYRICS IN GUJARATI DESCRIBED

5 Easy Facts About shiv chalisa lyrics in gujarati Described

5 Easy Facts About shiv chalisa lyrics in gujarati Described

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अंग गौर शिर गंग बहाये । मुण्डमाल तन छार लगाये ॥

पण्डित त्रयोदशी को लावे। ध्यान पूर्वक होम करावे ॥

अर्थ- हे अनंत एवं नष्ट न होने वाले अविनाशी भगवान भोलेनाथ, सब पर कृपा करने वाले, सबके घट में वास करने वाले शिव शंभू, आपकी जय हो। हे प्रभु काम, क्रोध, मोह, लोभ, अंहकार जैसे तमाम दुष्ट मुझे सताते रहते हैं। इन्होंनें मुझे भ्रम में डाल दिया है, जिससे मुझे शांति नहीं मिल पाती।

वस्त्र खाल बाघम्बर सोहे । छवि को देख नाग मुनि मोहे ॥

भाल चन्द्रमा सोहत नीके । कानन कुण्डल नागफनी के॥

गले रुण्डमालं तनौ सर्पजालं महाकालकालं गणेशाधिपालम् ।

शंकर हो संकट के नाशन । मंगल कारण विघ्न विनाशन ॥

एक कमल प्रभु राखेउ जोई। कमल नयन पूजन चहं सोई॥

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श्री गणेश गिरिजा सुवन, मंगल मूल सुजान।

त्राहि त्राहि मैं नाथ पुकारो। यहि अवसर मोहि आन उबारो॥

अर्थ: हे शिव शंकर आप check here तो संकटों का नाश करने वाले हो, भक्तों का कल्याण व बाधाओं को दूर करने वाले हो योगी यति ऋषि मुनि सभी आपका ध्यान लगाते हैं। शारद नारद सभी आपको शीश नवाते हैं।

जय सन्तोषी मात अनूपम। शान्ति दायिनी रूप मनोरम॥ सुन्दर वरण चतुर्भुज रूपा। वेश मनोहर ललित अनुपा॥

श्री गणेश गिरिजा सुवन, मंगल मूल सुजान।

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